UP डिफेंस कॉरिडोर में जमीन की नई रेट लिस्ट जारी, लखनऊ टॉप पर

UP डिफेंस कॉरिडोर में जमीन की नई रेट लिस्ट जारी, लखनऊ टॉप पर
Uttar Pradesh News

यूपी में डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर राजधानी लखनऊ तथा चित्रकूट, झांसी रोड में निवेशकों के लिए जमीन की दर तीव्र गति के साथ तय की जा रही है जिसमें लखनऊ में यह रेट सबसे ज्यादा प्रति वर्ग मीटर रुपया तय किया जा रहा है. 

 प्रति वर्ग मीटर तय किया गया जमीन का रेट

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में अब इस शहर को राज्य सरकार पूरे तरीके से औद्योगिक केंद्र को खड़ा करने के लिए हर प्रकार से प्रयासरत है जिसमें बताया जा रहा है कि डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर चित्रकूट, लखनऊ, झांसी में निवेशकों के लिए जमीन की दर तय की जा रही है. लखनऊ में सबसे ज्यादा इसका रेट 1716 रुपए प्रति वर्ग मीटर दर्ज किया गया है जिसमें चित्रकूट में 631 रुपया प्रति वर्ग मीटर तथा झांसी में 529 रुपया प्रति वर्ग मीटर की दर से जमीन आवश्यक रूप से आसानी से मिल पाएगी.

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राजधानी लखनऊ नोड में अब निवेशकों के लिए 167.86 623 हेक्टेयर जमीन उपलब्ध है यहां उपलब्ध 117 वर्ग मीटर जमीन पर की रक्षा कंपनियां अपनी परियोजनाएं लगा भी सकती हैं. अब झांसी में कुल 1087.03110 वर्ग मीटर जमीन उपलब्ध है जिसमें यहां लगभग 760 हेक्टेयर जमीन ही निवेशकों को बेची जा सकती है अब इसी तरह चित्रकूट के प्रथम चरण के लिए 102 हेक्टेयर जमीन उपलब्ध है. जिसमें केवल और केवल 70% जमीन ही उद्यमियों के लिए उपलब्ध की गई है. 

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उद्यमियों को दिया जाएगा तीन प्रकार का अवसर

इंडस्ट्रियल कॉरिडोर में सभी भूखंड को 1.2 हेक्टेयर से अधिक बड़े प्लांट में विभाजित भी किया जा सकता है अब इस क्रम में औसत विकास लागत 1.5 करोड रुपए प्रति हेक्टेयर रखना तय किया जा चुका है. इसी बीच यूपीडा आईएमएलसी के लिए विभिन्न एक्सप्रेसवे के किनारे निर्माण होने वाला आईएमएलसी के लिए जमीन की दर जिसमें तय कर दी गई है इसमें जमीन की अधिग्रहण लागत, विकास लागत, प्रशासनिक व्यय, विशेष व्यय, 2% ही शामिल किया गया है. अब यह पूरा दर यूपीडा बोर्ड ने तय कर दिया है.

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जिसमें जिलाधिकारी सर्किल रेट की वृद्धि सड़क के किनारे जमीन का अधिक मूल्य होना समेत कई वजह से उपरोक्त रेट में लगभग 10% का परिवर्तन की संभावना जताई जा रही है. यूपीडा प्रदेश के एक्सप्रेसवे के किनारे कम से कम 26 जिलों में आईएमएलसी विकसित किया जा रहा है यहां औद्योगिक इकाइयों की स्थापना के लिए अब भूखंड का आवंटन निवेशकों को आवश्यक रूप से किया जाएगा इन सब जिलों में जमीन के रेट तीव्र गति के साथ तय किया जा रहे हैं. इसी बीच निवेशकों को अपनी परियोजनाएं लगाने के लिए तीन विकल्प भी दिए जाएंगे इनमें टैलेंट मेड औद्योगिक भूखंड होंगे खुद के उपयोग के लिए बड़े भूखंड भी उपलब्ध करवाए जाएंगे इसके साथ-साथ पेपर मॉडल पर औद्योगिक कलस्टर या पार्क विकसित करवाया जाएगा.

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शम्भूनाथ गुप्ता पिछले 5 वर्षों से सक्रिय पत्रकारिता में हैं। 'मीडिया दस्तक' और 'बस्ती चेतना' जैसे प्लेटफॉर्म पर न्यूज़ और वीडियो एडिटिंग टीम में अपनी सेवाएं दे चुके हैं। न्यूज़ प्रोडक्शन और डिजिटल कंटेंट निर्माण में गहरा अनुभव रखते हैं। वर्तमान में वे 'भारतीय बस्ती' की उत्तर प्रदेश टीम में कार्यरत हैं, जहां वे राज्य से जुड़ी खबरों की गंभीर और सटीक कवरेज में सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं।