यूपी में वापस होगी बच्चों की फीस! बनी दो सदस्यों की कमेटी, करेगी निजी स्कूलों के अकाउंट्स की जांच

UP News: कोरोना काल के दौरान उत्तर प्रदेश में निजी स्कूलों द्वारा ली गई अतिरिक्त फीस को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने सेवानिवृत्त जज जीपी मित्तल के नेतृत्व में दो सदस्यीय कमेटी का गठन किया है. यह कमेटी यूपी में निजी स्कूलों की वित्तीय स्थिति की जांच करेगी.
सुप्रीम कोर्ट में चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया संजीव खन्ना और जज जस्टिस संजय कुमार और जज जस्टिस केवी विश्वनाथन की बेंच ने इलाहाबाद हाईकोर्ट के उस आदेश को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई की. इस आदेश में निजी स्कूलों को साल 2020-2021 के दौरान बच्चों के पैरेंट्स द्वारा दी गई फीस का 15% समायोजित करने या वापस करने का निर्देश दिया गया था. सुप्रीम कोर्ट ने इलाहाबाद हाईकोर्ट के खिलाफ जिस याचिका पर सुनवाई की वह 17 स्कूलों के एक समूह द्वारा दाखिल की गई है.
कोर्ट ने क्या कहा?
सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया खन्ना ने कहा कि हाईकोर्ट ने निजी स्कूलों के तथ्यों और वित्तीय हालत पर गौर किए बिना अपने फैसले में 'सामान्य दृष्टिकोण' को ध्यान में रखा. उन्होंने कहा, 'हाईकोर्ट के आदेश में बहुत व्यापक दृष्टिकोण है. जो कि ठीत नहीं है. आपको हर मामले पर गौर करना होगा.'
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सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने दिल्ली हाईकोर्ट के पूर्व जज जस्टिस जीपी मित्तल और चार्टर्ड अकाउंटेंट अधीश मेहरा की सदस्यता वाली दो सदस्यीय कमेटी बनाई है. यह कमेटी हर मामले के तथ्यों पर गौर करते हुए स्कूलों की वित्तीय हालत का अलग-अलग आंकलन करेगी.