लखनऊ-कानपुर एक्स्प्रेस-वे पर अपडेट, ट्रैवल करने के लिए इतने रुपए करने होंगे खर्च

लखनऊ-कानपुर एक्स्प्रेस-वे पर अपडेट, ट्रैवल करने के लिए इतने रुपए करने होंगे खर्च
Lucknow-Kanpur Expressway

लखनऊ और कानपुर के बीच बन रहा एक्सप्रेसवे उत्तर प्रदेश में परिवहन और विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है. इस परियोजना के तहत 63 किलोमीटर लंबा यह एक्सप्रेसवे शहीद पथ, लखनऊ से शुरू होकर कानपुर के नवाबगंज तक जाएगा. जिससे दोनों शहरों के बीच यात्रा का समय काफी कम हो जाएगा.

विस्तार की योजना, औद्योगिक विकास

इस एक्सप्रेसवे को आठ लेन तक विस्तारित करने की योजना है. इसके लिए आवश्यक भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया पहले ही शुरू कर दी गई है. ताकि भविष्य में यातायात की बढ़ती मांग को पूरा किया जा सके. लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेसवे पर चलने वालों को टोल प्लाजा पर गति धीमी नहीं करनी पड़ेगी. एक्सप्रेसवे पर यह टोल प्लाजा वहीं बनाए जाएंगे, जहां रैम्प से चढ़ने-उतरने की सुविधा होगी. पूरे एक्सप्रेस वे पर ऐसे पांच टोल प्लाजा होंगे. इस एक्सप्रेसवे पर उद्घाटन की तिथि के दूसरे दिन से ही टोल लगना शुरू हो जाएगा. समय से काम खत्म कर लिया जाएगा. इसके लिए सख्त निर्देश दिए जा चुके हैं. शुक्रवार को एनएचएआइ सदस्य विशाल चौहान ने भी काम को लेकर संतोष व्यक्त किया है. एक्सप्रेसवे पर पांच स्थानों पर टोल लगेगा. एक्सप्रेसवे के बीचोंबीच कोई टोल नहीं होगा.

लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेसवे के बीचों-बीच टोल नहीं होंगे. अमूमन एक्सप्रेस वे या फिर राष्ट्रीय राजमार्ग पर टोल प्लाजा-बीच में होते हैं, जिससे वाहनों को रोककर टोल से गुजरना पड़ता है. लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेस वे पर ऐसा नहीं होगा. यह एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास के लिए भी सहायक सिद्ध होगा. जिससे लखनऊ और कानपुर के आसपास के इलाकों में आर्थिक विकास को बढ़ावा मिलेगा. इस परियोजना के पूरा होने से लखनऊ और कानपुर के बीच यात्रा का समय 3 घंटे से घटकर केवल 35 से 45 मिनट रह जाएगा. जिससे यातायात की सुगमता बढ़ेगी. ​

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निर्माण कार्य की प्रगति, रफ्तार और सुरक्षा

एक्सप्रेसवे का काम वर्तमान में 85 प्रतिशत से अधिक हो गया है। 30 अप्रैल 2025 तक इसे 90 प्रतिशत पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है. अभियंताओं का दावा है कि जून मध्य तक सिविल का काम पूरा कर लिया जाएगा. लखनऊ से बनी तक 18 किमी. एलीवेटेड रोड बनाई जा रही है. यहां से ग्रीन फील्ड चालू हो जाता है, जो ट्रांस गंगा सिटी तक है. 63 किमी. एक्सप्रेसवे को बनाने में 43 गांवों की जमीनों का अधिग्रहण किया गया है. भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआइ) मई के मध्य तक 63 किमी. लंबे एक्सप्रेसवे के लिए टेंडर प्रकिया शुरू करने की तैयारी में है. एनएचएआइ के अधिकारियों ने एक्सप्रेसवे का काम 31 जुलाई तक पूरा करने का दावा किया है.

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एनएचएआइ के अफसरों ने बताया कि जहां रैंप होंगे, वहीं टोल प्लाजा होगा. लखनऊ से एक्सप्रेसवे पर प्रवेश करते ही पहला टोल प्लाजा मीरनपुर पिनवट के पास होगा. दूसरा टोल खंडेदेव पर बनेगा. तीसर टोल बनी के पास और चौथा टोल उन्नाव-लालगंज के पास पड़ने वाले अमरसास गांव के पास और अंतिम यानी पांचवां टोल आजाद नगर के पास बनेगा. माना जा रहा है कि अगस्त 2025 में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, रक्षामंत्री राजनाथ सिंह, नागरिक उड्डयन मंत्री नितिन गड़करी व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ एक्सप्रेसवे का उद्घाटन करेंगे. लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेसवे पर चढ़ने व उतरने के लिए पांच स्थानों पर रैंप की व्यवस्था होगी.

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शम्भूनाथ गुप्ता पिछले 5 वर्षों से सक्रिय पत्रकारिता में हैं। 'मीडिया दस्तक' और 'बस्ती चेतना' जैसे प्लेटफॉर्म पर न्यूज़ और वीडियो एडिटिंग टीम में अपनी सेवाएं दे चुके हैं। न्यूज़ प्रोडक्शन और डिजिटल कंटेंट निर्माण में गहरा अनुभव रखते हैं। वर्तमान में वे 'भारतीय बस्ती' की उत्तर प्रदेश टीम में कार्यरत हैं, जहां वे राज्य से जुड़ी खबरों की गंभीर और सटीक कवरेज में सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं।