यूपी के इस ज़िले में इस रिंग रोड के लिये तैयारी पूरी, भूमि अधिग्रहण का काम शुरू

उत्तर प्रदेश: उत्तर प्रदेश में स्थित आजमगढ़ शहर में हर रोज़ बढ़ रही जाम की समस्या को ध्यान में रखते हुए सरकार द्वारा महत्वपूर्ण कदम उठाए जा रहे है. जिले में रिंग रोड़ को निर्मित कराने की मंजूरी मिल चुकी है. यह रिंग रोड करीब 15.7 किलोमीटर लंबा होगा और 13 गांवों से होकर गुजरेगा.
इस परियोजना के लिए 27 गांवों के किसानों की लगभग 91.39 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) द्वारा शुरू कर दिया गया है. इसके साथ ही डीपीआर (डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट) भी बनाई जा रही है.
सरकार ने इस रिंग रोड को मई महीने में हरी झंडी दी थी. इसके बाद से ही निर्माण से जुड़े सभी जरूरी काम तेज कर दिए गए हैं. भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया भी सक्रिय रूप से जारी है. स्थानीय प्रशासन और संबंधित विभाग इस काम की नियमित जांच कर रहे हैं.
यह रिंग रोड रानी की सराय से शुरू होकर सेमरहा अंडरपास, फिर गोरखपुर-दोहरीघाट मार्ग होते हुए पूर्वांचल एक्सप्रेसवे के पास उकरौड़ा गांव तक जाएगा. कुल दूरी होगी करीब 15.7 किलोमीटर. इसके माध्यम से वाहन चालकों को शहर में प्रवेश किए बिना ही बाहर निकलने का रास्ता मिल सकेगा.
रिंग रोड वाराणसी-लुंबिनी नेशनल हाइवे-233 से भी जुड़ेगा और यह किमी संख्या 218.800 से शुरू होकर पूर्वांचल एक्सप्रेसवे के किमी संख्या 247.850 पर जाकर मिलेगा.
इसके अतिरिक्त, आजमगढ़ के पूर्वी हिस्से में स्थित बाईपास को भी चौड़ा करने और मजबूती देने का काम प्रस्तावित है. यह बाईपास प्रयागराज-मुंगरा बादशाहपुर-जौनपुर मार्ग और आजमगढ़-दोहरीघाट राजमार्ग के हिस्से में आता है. पहले इसका सर्वे हुआ था, और अब डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट बनाई जा रही है. इस परियोजना से आजमगढ़ में बढ़ते ट्रैफिक जाम पर नियंत्रण पाया जा सकता है.
क्या होंगा लाभ?
- शहर में जाम की समस्या से छुटकारा मिलेगी.
- दूसरे जिलों से आने वाले वाहन अब शहर में प्रवेश किए बिना ही निकल सकेंगे.
- यात्रा में समय और ईंधन दोनों की काफी बचत होगी.
- स्थानीय लोगों को बेहतर परिवहन सुविधा मिलेगी.