यूपी में सरकारी बस होंगी मॉडर्न, लंबी दुरु का करेंगी सफर

अब तक, देश में सबसे नए बसों के बेड़े के मामले में गुजरात का स्थान सबसे ऊपर था। लेकिन अब उत्तर प्रदेश गुजरात को पीछे छोड़ने की तैयारी में है। नई बसों के बेड़े के मामले में उत्तर प्रदेश जल्द ही देश का पहला राज्य बनने जा रहा है। यह बदलाव राज्य की परिवहन व्यवस्था को और मजबूत करेगा और यात्रियों के लिए सुविधाएं बढ़ाएगा। उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा उठाए गए इस कदम से राज्य में सार्वजनिक परिवहन को एक नई दिशा मिलेगी।
परिवहन निगम के पास हर प्रकार की आधुनिक बसों का बेड़ा मौजूद है। इसमें विभिन्न बसें शामिल है:-
- साधारण बसें,
- एसी जनरथ बसें,
- एसी बसें,
- एसी पवन हंस बसें,
- इलेक्ट्रिक एसी बसें,
- इलेक्ट्रिक डबल डेकर एसी।
जल्द ही उच्च गुणवत्ता वाली बसों की खरीदारी की जाएगी, जिससे उत्तर प्रदेश की सड़कों पर नई और चमचमाती रोडवेज बसें देखने को मिलेंगी। इस कदम से यात्रियों को बेहतर सुविधाएं मिलेंगी और यात्रा का अनुभव और भी सुखद हो जाएगा। इसके अलावा, इन नई बसों की मदद से यात्रा के दौरान समय की बचत भी होगी।
उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम ने अपने बस बेड़े में कई नई और आधुनिक बसों को शामिल किया है। इस समय निगम के पास ऐसी कई बसें हैं, जो अपनी उम्र के अंतिम पड़ाव पर पहुंच चुकी हैं। लगभग 10 लाख किलोमीटर की दूरी तय करने और 12 साल की सेवा पूरी करने वाली इन पुरानी बसों को धीरे-धीरे बेड़े से बाहर किया जा रहा है।
निगम ने इस प्रक्रिया को तेज करते हुए नई बसों की खरीदारी की दिशा में कदम बढ़ाया है। इन नई बसों की तकनीकी विशेषताएं और सुविधाएं यात्रियों को बेहतर यात्रा अनुभव प्रदान करेंगी। इसके साथ ही, पुराने वाहनों के स्थान पर नई और सुरक्षित बसों का संचालन यात्रियों की सुरक्षा और सुविधा में भी इजाफा करेगा।
उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम ने अपने बस परिवहन सेवा को आधुनिक बनाने के लिए हाईटेक साधारण बसों की खरीदारी शुरू कर दी है। इसके साथ ही, एसी और नॉन एसी इलेक्ट्रिक बसों की खरीद पर भी विशेष ध्यान दिया जा रहा है। निगम का लक्ष्य है कि वह लगभग 5000 इलेक्ट्रिक बसों को अपने बस बेड़े में शामिल करे, जिससे न केवल यात्रियों को बेहतर सुविधा मिलेगी, बल्कि पर्यावरण संरक्षण में भी मदद मिलेगी। नई बसों में उन्नत तकनीक और सुविधाएं होंगी, जो यात्रियों की यात्रा को और भी सुखद बनाएंगी।
रोडवेज के बस बेड़े में अब तक लगभग 100 इलेक्ट्रिक बसें शामिल हो चुकी हैं, और ये संख्या जल्द ही बढ़ने वाली है, क्योंकि 20 नई एसी इलेक्ट्रिक डबल डेकर बसें भी जल्द ही हमारे सड़कों पर नजर आएंगी। इनमें से 2 इलेक्ट्रिक एसी डबल डेकर बसें तो पहले ही आ चुकी है। गुजरात में पिछले सवा पांच साल से इस दिशा में काम चल रहा था, लेकिन अब उत्तर प्रदेश में पांच साल से कम उम्र की बसें भी इस बेड़े का हिस्सा बन रही हैं।
उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम (यूपीएसआरटीसी) के पास 12349 बसों का एक विशाल बेड़ा है। इसमें ग्रामीण, सीएनजी, राजधानी, एसी पिंक और एसी जनरथ जैसी श्रेणियों में कुल 9395 बसें शामिल हैं। इसके अलावा, 2881 हायरड बसें भी हैं, जिनमें एसी वॉल्वो, दो स्लीपर बसें और 57 एसी शताब्दी बसें शामिल हैं।
यूपी रोडवेज के पास 11673 साधारण बसें और 676 एसी बसें हैं, जिससे यह स्पष्ट होता है कि परिवहन निगम ने करीब 7000 नई बसों का इजाफा किया है। यही कारण है कि उत्तर प्रदेश ने गुजरात को पीछे छोड़ते हुए इस क्षेत्र में पहला स्थान प्राप्त किया है। यह उपलब्धि राज्य के परिवहन क्षेत्र में सुधार और विकास का संकेत देती है।