इस तारीख से शुरू होगा लखनऊ-कानपुर Expressway, आया नया अपडेट
उत्तर प्रदेश सरकार लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेसवे को शुरू करने की तैयारी है। इस एक्सप्रेसवे के शुरू होने से लखनऊ से कानपुर की दूरी मात्र 35 मिनट में तय की जा सकेगी, जिससे यात्रियों को बड़ी राहत मिलेगी। लखनऊ और कानपुर के बीच आवागमन को और सुगम बनाने के लिए लखनऊ कानपुर एक्सप्रेसवे का निर्माण तेजी से जारी है।
कैसे बदलेगा लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेसवे का असर
यूपी सरकार का मेगा इंफ्रास्ट्रक्चर प्लान
लखनऊ और कानपुर उत्तर प्रदेश के दो बड़े आर्थिक और औद्योगिक केंद्र हैं। इस एक्सप्रेस वे के शुरू होने से इन शहरों के बीच व्यापार, परिवहन और निवेश के नए अवसर खुलेंगे। एक्सप्रेस वे के आसपास नए इंडस्ट्रियल हब और लॉजिस्टिक्स पार्क विकसित किए जाएंगे। निर्माण कार्य पूरा होने के बाद मेंटेनेंस, टोल प्लाजा पेट्रोल पंप और अन्य सर्विस सेक्टर में रोजगार बढ़ेगा। इतना ही नहीं, ऊपर एक्सप्रेस वे की एलीवेटेड रोड होगी जबकि नीचे पुराना लखनऊ-उन्नाव-कानपुर राष्ट्रीय राजमार्ग होगा। आधा किलोमीटर दूरी पर आउटर रिंग रोड और पिपरसंड मार्ग से आने वाली भीड़ इसी जंक्शन पर आकर रुकेगी। रोड इंजीनियरिंग के जानकार इस जंक्शन पर लगने वाले जाम को लेकर सक्रिय नहीं है। उसको लेकर शंकाएं जताई जाने लगी हैं। क्योंकि वाहनों की संख्या प्रतिदिन बढ़ रही है। आपको बता दें कि लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेस वे का काम तेजी से चल रहा है। एलीवेटेड व ग्रीन फील्ड का काम करीब 80 प्रतिशत हो गया है। जगह-जगह ऑटोमेटिक नंबर प्लेट रिकगनाइजेशन (एएनपीआर), माती के पास पुलिस चौकी व प्राथमिक उपचार की सुविधा बढ़ा दी गई है। वर्तमान में रिंग रोड पर वाहनों की संख्या का ग्राफ सवा लाख के आसपास हो गया है। चौराहे पर वाहन जाम में न फंसे इसके लिए अभी तक कोई रणनीति नहीं बनाई गई है। ऐसे में जून से लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेस वे शुरू होने पर यहां जाम लगना तय माना जा रहा है। क्योंकि आउटर रिंग रोड पर वाहनों की संख्या भी 20 से 30 प्रतिशत बढ़ने का अनुमान लगाया जा रहा है। इससे चौराहे का हाल भी आलमबाग के अवध चौराहे की तरह हो सकता है।